घर बैठे लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस बनाने की व्यवस्था का विरोध शुरू, कर्मचारी बोले होगा फर्जीवाड़ा :-
1 min readराजधानी सहित प्रदेश भर में 25 नवंबर से लागू होने जा रही घर बैठे लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने की नई व्यवस्था का विरोध शुरू हो गया है। मप्र तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ से जुड़े परिवहन विभाग के कर्मचारियों का कहना है कि लर्निंग लाइसेंस की नई प्रकिया में धांधली की संभावना भी कई गुना बढ़ जाएगी, क्योंकि लर्निंग लाइसेंस की नई प्रक्रिया में एमपी ऑनलाइन के जरिए बाहरी व्यक्तियों (एजेंट) एवं स्वयं आवेदक द्वारा दस्तावेज की जांच/पुष्टि किए बिना ही लाइसेंस बनवा दिए जाएंगे। प्रक्रिया प्रारंभ हो जाने के बाद यदि किसी आवेदक द्वारा गलत जानकारी/ फर्जी दस्तावेज के आधार पर लर्निंग लाइसेंस बनवाने की प्रक्रिया में सफल हो जाता है तो पूर्ण जिम्मेदारी स्वयं आवेदक या एमपी ऑनलाइन या दलाल की होनी चाहिए। किसी भी प्रकरण में विभागीय अधिकारी या कर्मचारी के ऊपर किसी भी प्रकार की कार्रवाई नहीं होनी चाहिए।
मप्र तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ, परिवहन विभाग के अध्यक्ष श्याम यादव ने बताया कि दस्तावेजों के साथ-साथ आवेदक द्वारा आवेदन एवं शपथ पत्रों के माध्यम से दी जाने वाली किसी भी प्रकार की जानकारी आदि की संपूर्ण जवाबदारी आवेदक की ही होनी चाहिए। नई व्यवस्था में गड़बड़ी होने पर सिर्फ कर्मचारियों पर ही कार्रवाई नहीं हो। परिवहन विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को पत्र लिखकर नई व्यवस्था में गड़बड़ी होने की संभावना को बताएंगे। इसमें जरूरी दस्तावेज फर्जी लगाकर घर बैठे कोई भी लाइसेंस बनवा सकता है। घर बैठे ड्राइविंग लाइसेंस बानने की व्यवस्था शुरू होने से अच्छा रहता कि आरटीओ व डीटीओ में लर्निंग लाइसेंस के एक की जगह तीन-तीन काउंटर कर दिए जाते। टेस्ट के लिए सवाल पूछने के लिए टैबलेट की संख्या बढ़ानी चाहिए थी, जिससे लाइसेंस बनवाने के लिए शुरू की जा रही नई व्यवस्था शुरू करने की जरूरत ही नहीं पड़ती और फर्जीवाड़ा की संभावना भी नहीं बनती।