MLA कुलदीप सिंह सेंगर दोषी करार, कोर्ट ने पीड़िता को माना नाबालिग; सजा पर बहस 19 दिसंबर को
1 min read4 जून, 2017 को नौकरी देने के नाम पर कुलदीप सेंगर ने साजिश रचनेे और दुष्कर्म करने का अपराध किया था। इसके अलावा पीड़िता के परिजनों को नुकसान पहुंचाने की धमकी भी दी थी।
9 अगस्त को दोनों आरोपितों पर आरोप तय किए गए थे। करीब 5 माह तक इस कांड से जुड़े सभी मामलों को लगातार तीस हजारी अदालत में सुना जा रहा है। यह पहला मामला है, जिसमे अदालत का फैसला आया है।
महिला आरोपित शशि सिंह को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया गया है। जज धर्मेश शर्मा की अदालत ने फैसला सुनाया तो कुलदीप सिंह सेंगर और शशि सिंह कोर्ट रूम में रोने लगे। बरी होने का फैसला सुनते ही शशि सिंह रोने लगीं।
- आरोप है कि विधायक सेंगर ने नौकरी देने का वादा करके अपने आवास पर पीड़िता से दुष्कर्म किया था।
- पीड़िता को किडनैप कर सामूहिक दुष्कर्म की वारदात भी हुई थी, जिसमें तीन नामजद समेत छह आरोपित हैं।
- 28 जुलाई को चाचा से मिलकर वापस लौटने के दौरान रायबरेली में पीड़िता की कार को एक ट्रक ने टक्कर मार दी थी। घटना के समय कार में पीड़िता की चाची, मौसी व वकील भी थे। इस घटना में उसकी चाची व मौसी की मौत हो गई थी, जबकि पीड़िता व उसके वकील गंभीर रूप से घायल हो गए थे।
- तीस हजारी अदालत में दुष्कर्म, सामूहिक दुष्कर्म, पीड़िता के पिता पर झूठा केस दर्ज करने व उनकी हत्या के मामले की सुनवाई चल रही है। इसके अलावा, पीड़िता की कार को टक्कर मारने वाले केस का आरोप पत्र सीबीआइ दाखिल कर चुकी है।
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