चीनी के भाव हुए कम इस माह में, 8.85 लाख टन पर हुआ .
1 min readमहाराष्ट्र और कर्नाटक जैसे प्रमुख गन्ना उत्पादक राज्यों का देश के चीनी उत्पादन में लगभग 35-40 फीसदी का योगदान होता है लेकिन विभिन्न कारणों से यहां का गन्ना उत्पादन प्रभावित हुआ है. इस वर्ष कुल गन्ने का रकबा 12 फीसदी घटकर 48.31 लाख हेक्टेयर रहने का अनुमान है, जो एक साल पहले 55.02 लाख हेक्टेयर थाअगस्त-सितंबर 2019 के दौरान कोल्हापुर, सांगली, सतारा और पुणे जैसे गन्ना उत्पादक क्षेत्रों में बाढ़ आने और लंबे समय तक खेतों में जल भराव रहने के कारण, कुछ गन्ने तो पूरी तरह से नष्ट हो गए, जबकि कुछ क्षेत्रों में गन्ने की ऊपज और उससे चीनी प्राप्ति का स्तर आंशिक रूप से प्रभावित हुआ है.
इसी तरह, कर्नाटक में गन्ना खेती का रकबा लगभग 21 फीसदी कम होने की वजह से वर्ष 2019-20 में चीनी उत्पादन 32 लाख टन रहने का अनुमान लगाया गया है जो उत्पादन वर्ष 2018-19 में 44.3 लाख टन था. देश के अन्य गन्ना उत्पाद वर्ष 2018-19 में 44.3 लाख टन था.
पिछले महीने, ISMA ने कहा कि 2019-20 के मार्केटिंग वर्ष में चीनी का उत्पादन 21.5 फीसद घटकर 26 मिलियन टन होने का अनुमान है। ISMA के मुताबिक, 1 अक्टूबर को 14.58 मिलियन टन चीनी के शुरुआती स्टॉक की जानकारी मिली।
महाराष्ट्र में उत्पादन में 67,000 टन की गिरावट आई, जो पिछले वर्ष के दो महीनों में 18.89 लाख टन था। राज्य में चीनी मिलों का संचालन 22 नवंबर, 2019 की देर रात से शुरू हुआ। कर्नाटक में भी उत्पादन में गिरावट दर्ज की गई और यह 8.40 लाख टन से घटकर 5.21 लाख टन हो गया।